रीवा जिले में स्थापित अवधेश प्रताप विश्वविद्यालय के कई विभाग अपने कारनामों के वजह से हमेशा ही चर्चा में रहते हैं। कभी परीक्षा को लेकर तो कभी परीक्षा के बाद परिणाम को लेकर लेकिन फिर भी लापरवाही थमने का नाम नहीं ले रही। ताज़ा मामला विधिक की पढ़ाई कर रहे कई छात्रों के भविष्य से जुड़ा हुआ है। जहाँ दूसरे तीसरे सेमेस्टर के साथ – साथ अन्य सेमेस्टर के परिणाम भी जानबूझ कर प्रभावित किये जा रहे और जब दूसरी बार पुनर्मूल्यांकन का शुल्क भर जाँच की उम्मीद की जाती है तो वहाँ भी निराशा हाँथ लगती है।
इस सम्बन्ध में छात्रों ने जब अपने सेंटर के प्रोफेसरों का घेराव किया और नाराजगी जाहिर की तो प्रोफ़ेसर द्वारा बताया गया कि हम लोगों के हाँथ में कुछ भी नहीं है सारा काम – काज अवधेश प्रताप विश्वविद्यालय रीवा द्वारा देखा जाता है। अब ऐसे में अपने भविष्य को लेकर परेशान छात्र और अभिभावक दर – दर कि ठोकरें खा रहे हैं लेकिन कोई सुनवाई नहीं है। कुछ बच्चे तो इस लापरवाही से इतने हताश हो गए हैं कि पढ़ाई छोड़ने को तैयार हैं। जानकारी के मुताबिक समस्या सिर्फ विधिक के छात्रों के साथ ही नहीं बल्कि बीए बीएससी आदि विषयों के साथ भी है। अब देखना होगा कि विश्वविद्यालय प्रशासन इस मामले को कितनी गंभीरता से लेता है और अंधकार में डूब रहा बच्चों का भविष्य उजाले कि तरफ बढ़ेगा।