रीवा और मऊगंज जिले के सभी विकासखण्डों में 12 नवम्बर 2024 से 28 फरवरी 2025 तक सांस अभियान चलाया जाएगा। अभियान के तहत सर्दी, खांसी और बुखार से पीड़ित पाँच साल तक के सभी बच्चों के विशेषज्ञ डॉक्टरों द्वारा जाँच की जाएगी। बार-बार बीमार पड़ने वाले बच्चों को अस्पताल में भर्ती करके सांस संबंधी रोगों का समुचित उपचार किया जाएगा। इस संबंध में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ संजीव शुक्ला ने बताया कि पाँच साल से कम आयु के बच्चों में निमोनिया का सर्वाधिक प्रकोप होता है। मध्यप्रदेश में लगभग 17 हजार बच्चों की मौत हर वर्ष निमोनिया से हो जाती है। इसकी रोकथाम के लिए सांस अभियान चलाया जा रहा है। अभियान के तहत बच्चों को निमोनिया से बचाव के लिए उनके माता-पिता को जागरूक किया जाएगा। साथ ही निमोनिया से पीड़ित बच्चों को समुचित उपचार दिया जाएगा। शिशु के संपूर्ण टीकाकरण, समुचित पोषण, साफ-सफाई तथा प्रदूषण से बचाने के संबंध में भी अभियान के दौरान अभिभावकों को जागरूक किया जाएगा।
अभियान के संबंध में जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ बीके अग्निहोत्री ने बताया कि निमोनिया से पीड़ित बच्चों के रेफरल प्रकरणों की नियमित मॉनीटरिंग की जाएगी। अभियान के संबंध में जिला और विकासखण्ड स्तर पर प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित कर अभियान से जुड़े डॉक्टरों और चिकित्सा कर्मियों को प्रशिक्षण दिया गया है। अभियान की जिला और विकासखण्ड स्तर से सतत निगरानी की जाएगी। अभियान को सफल बनाने के लिए स्वास्थ्य विभाग, महिला एवं बाल विकास विभाग, ग्रामीण विकास विभाग, शिक्षा विभाग, वन विभाग, श्रम विभाग, पिछड़ावर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण विभाग तथा स्वयंसेवी संस्थाएं मिलकर प्रयास करेंगी। अभियान के दौरान शिशुओं को नियमित स्तनपान कराने, सम्पूर्ण टीकाकरण तथा शिशु स्वास्थ्य रक्षा के संबंध में जागरूक किया जाएगा। एसएनसीयू तथा पोषण पुनर्वास केन्द्र से डिस्चार्ज शिशुओं का लगातार फालोअप किया जाएगा।