देश के यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने समग्र स्वच्छता अभियान से पूरे देश में स्वच्छता की अलख जगाई है। शहरों और गांवों को साफ-सुथरा रखने के लिए अब सकारात्मक दृष्टिकोण से प्रयास हो रहे हैं। स्वच्छता ही सेवा अभियान के तहत गांव को साफ-सुथरा रखने के लिए कई नवाचार किए जा रहे हैं। रीवा जिले में स्वच्छता ही सेवा अभियान के शुभारंभ के अवसर पर मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव की वर्चुअल माध्यम से उपस्थिति के बीच 101 ग्राम पंचायतों ने गांव के कचरे के निपटान के लिए स्वसहायता समूहों के साथ अनुबंध पर हस्ताक्षर किए। इन्हीं में शामिल रीवा विकासखण्ड की ग्राम पंचायत बजरंगपुर में महिला स्वसहायता समूह गांव के कचरे का प्रबंधन कर रहे हैं। सूखे और गीले कचरे को अलग-अलग करके इसका उपयोग खाद बनाने में किया जा रहा है। अनुपयोगी कचरे को कबाड़ी को बेचकर भी कुछ राशि प्राप्त हो रही है।
इस संबंध में जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी डॉ सौरभ सोनवणे ने बताया कि बजरंगपुर में ग्राम पंचायत द्वारा आजीविका मिशन के महिला स्वसहायता समूह को कचरा प्रबंधन में पूरा सहयोग दिया जा रहा है। समूह को कचरा संग्रहण के लिए वाहन उपलब्ध कराया गया है। साथ ही खाद बनाने के लिए नाडेप बनाए गए हैं। गांव के घरों तथा दुकानों से निकलने वाले कचरे का समुचित निपटान महिला स्वसहायता समूहों द्वारा किया जा रहा है। ग्रामीणजन भी गांव को साफ-सुथरा रखने के प्रयासों में पूरा सहयोग कर रहे हैं। कचरा संग्रहण करने वालों को सुरक्षा किट उपलब्ध कराई गई है। ग्राम पंचायत द्वारा कचरा संग्रहण के लिए निर्धारित राशि प्रदान की जा रही है। समूह की महिलाएं हर दिन केवल दो से तीन घंटे में कचरा संग्रहण और प्रबंधन का कार्य पूरा करके शेष दिन अन्य कार्य करती हैं। इससे उन्हें अतिरिक्त आमदनी प्राप्त हो रही है। शहरों की तरह गांव में कचरा प्रबंधन की बजरंगपुर अनूठी मिसाल बन गया है।